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Love Poems in Hindi: दिल को छू जाने वाली प्यार पर कविता
दोस्तों आज मैं आपके लिए ऐसी प्यारी – प्यारी अनसुनी Love Poems in Hindi लेकर आया हूं। यह Hindi Poems इंटरनेट पर कहीं खो सी गई इसलिए दोस्तों आज मैं आपके लिए दिल को छू जाने वाली Prem ki Poems लेकर आया हूं। दोस्तों आशा करता हूं आपको यह Love Poems Hindi पढ़कर अच्छा लगे।
Hindi Love Poems
1. एक वक़्त था…Poem
एक वक़्त था : जब हम अजनबी हुआ करते थे
एक वक़्त था : जब वो अजनबी हो कर भी अपना सा लगा करता था
एक वक़्त था : जब आँखे सिर्फ उसी को ढूंढा करती थी
एक वक़्त था : जब उसे न देखो तो बेचैनी सी हुआ करती थी
एक वक़्त था : जब सिर्फ आँखों से बात हुआ करती थी
एक वक़्त था : जब उसकी एक झलक देख कर, बड़ी सी स्माइल हुआ करती थी
एक वक़्त था : जब दिल उससे बात करने के लिए बैचैन रहता था
एक वक़्त था : जब उसे फेसबुक पर सर्च करा जाता था और उसके न मिलने पे बड़ा अफ़सोस करा जाता था
एक वक़्त था : जब दिल सिर्फ उसी को याद किया करता था
एक वक़्त था : जब ख्याब भी उसी के आते थे
एक वक़्त था : जब हर दुआ में उसका नाम शामिल होता था
एक वक़्त था : जब उसे खुदा से माँगा जाता था
एक वक़्त था : जब वो फेसबुक पे मिल गया मिल गया था मानो दुनिया की साड़ी खुशियां ही मिल गयी हो
एक वक़्त था : मनो ऐसा लग रहा था रब ने मेरी सुन ली हो
एक वक़्त था : जब हम फ्रेंड्स बन गए थे
एक वक़्त था : जब सुबह, उसकी फोटो देख के होती थी
एक वक़्त था : जब उसकी एक ही फोटो को सौ सौ बार देखा जाता था
एक वक़्त था : जब दो मिबनात बात करके भी दिन भर खुश रहा जाता था
एक वक़्त था : जब उसके ऑनलाइन आने का घंटो वेट किया जाता था
एक वक़्त था : जब हम बोलते रहते थे और वो सुनता रहता था
एक वक़्त था : जब एक दिन भी उसकी फोटो देखे बिना रहा नहीं जाता था
एक वक़्त था : जब सिर्फ दिल की सुनी जाती थी
एक वक़्त था : जब दिल और दिमाग पर सिर्फ उसी का राज होता था
एक वक़्त था : जब उसकी फोटो न देखो तो दिन सूना सूना सा लगता था
एक वक़्त था : जब हम उसे अपनी बातो से बोर किया करते थे और उसका रिप्लाई हाँ हूँ हम में खतम हो जाता था
एक वक़्त था : जब हम दोनों ने प्यार का इजहार कर दिया था
एक वक़्त था : जब फ़ोन पे घंटो बात हुआ करती थी
एक वक़्त था : जब उसका और मेरा रास्ता अलग हो गया था
और एक आज का वक़्त है : जब उसके होने या न होने से कोई फर्क नहीं पड़ता
और एक आज का वक़्त है : जब दिल में उसके लिए नहीं है
और एक आज का वक़्त है : जब हम फिर से अजनबी हो चुके है
2. तुम नहीं जानती… Poem
तुम नहीं जानती कि वह रातों को जगना तुम्हें देखना
और तुम्हारे फोटो को चुम कर सो जाना कितना सुकून देता है मुझे, ये तुम नहीं जानती ..
तुम नहीं जानती कि कैसे तुम्हारी सांसे और आहे गरम लगती है मुझे सर्द रातों में ये तुम नहीं जानती…
तुम नहीं जानती कि कैसे ख्वाहिश है पूरा जिंदगी बिताने की तुम्हारी जुल्फों के साए में , ये तुम नहीं जानती…
तुम नहीं जानती कितने लड़के तुम्हारे लबो को तरसते है तुम नहीं जानती
तुम नहीं जानती की कितने बादल तुम्हें छूने को तरसते हैं ये तुम नहीं जानती…
तुम नहीं जानती कि इश्क क्या है, ये तनहा राते हैं, ये अधूरी बातें हैं ये मचलती सांसे हैं
यही तो इश्क है मेरा यह तुम नहीं जानती ….
3. तुम्हे अलविदा कहने में इतना दर्द क्यों है…Poem
तुम्हें अलविदा कहने में इतना दर्द क्यों है..
गर्मी के मौसम में हवा कितनी सर्द क्यों है..
इन दोनों सवालों के जवाब में..
आखिर तेरा ही नाम क्यों है..
तुम्हें अलविदा कहने में इतना दर्द क्यों है…
4. कुछ बातें तुझे बताना ज़रूरी है ..Poem
आज मेरा दिल जख्मी है लेकिन साँसों में मगरूरी है..
कुछ बातें हैं जो बेकार है, लेकिन तुझे बताना जरुरी है..
आज तू ने नहीं पूछा हाल मेरा , लेकिन तबीयत मेरी अच्छी है..
मुस्कान जरा सी झूठी है, लेकिन बातें मेरी सच्ची है..
आज तूने नहीं पूछा लेकिन फिर भी मैंने खाना खाया है..
आज सुबह तेरा कॉल नहीं था लेकिन मेरी माँ ने मुझे जगाया है..
शुक्रिया तेरा कि आज राजा बेटा हुआ हूं फिर से…
इन बाबू ,सोना ,जानू से दूरी है, कुछ बातें जो तुझे बताना जरूरी..
5. दिल टूट गया तो रोना क्यों..Poem
दिल टूट गया तो रोना क्यों, यादों का खजाना बाकी है..
मुझसा कोई ना चाहेगा तुझे, समझ में आना बाकी है..
तेरी यादों के तेरी बातों के सौगात सजाए बैठे हैं..
तेरी साथ बिताए लम्हों के जज्बात सजाए बैठे हैं..
जब प्यार हमारा सच्चा था तो क्यों आंसू बर्बाद करें..
हम तन्हाई और जाम के साथ सारी रात सजाए बैठे हैं..
6. जो होता है अच्छे के लिये होता है...Poem
बड़ी चाहत थी कि मैं भी इश्क कर लूं,
चांद- तारे तोड़ लाने की बाते कर लूं।
तेरी हर मुश्किलों में साथ निभाता रहूं,
जन्मों-जनम तक मैं तेरा ही रहूं।
फिर वो सुहानी सी मौसम की घड़ी आयी,
दिल में एक आशा की किरण लायी।
सोचा चलो इज़हार कर दूं आज,
दिनों बाद आयी थी हिम्मत आज।
मैंने कहा, ना जी सकूंगा तुम बिन,
तड़प रहा मैं जैसे मछली पानी बिन।
माना कि आज मैं एक गरीब किसान हूँ,
पर कभी आंसू आने न दूंगा ये वादा करता हूँ।
“अपनी औकात में रह” कहकर मना गयी,
बड़े घमंड से प्यार को ठुकरा वो चली गयी
प्यार व्यार सब अपने लिए नहीं यह सोच,
जिंदगी की राह में मै अकेला निकल पड़ा
कुछ कुछ वर्षो बाद बंगला गाड़ी, पैसा आ गया,
मैं अपनी जिंदगी जीना सीख गया
वो जहां कल थी वहीं आज है
मैंने तरक्की की ऊंचाई पा ली है
हर अँधेरी रात बाद नया दिन आता है
किसी ने सच ही कहा है
जो होता है अच्छे के लिए होता है
7. दिल को समझाने कि कोशिश… POEM
दिल को समझाने की कोशिश हर बार करता हूं,
तू किसी और की है..
क्यों ना ये स्वीकार करता हूं और
सोचता हूं बेवफाई का इंजाम कैसे दूं..
तू जैसी भी है लेकिन मैं
तुझसे अभी तक प्यार करता हूं…
8. अब गम नहीं होता तेरे जाने का… Poem
अब जो तुम चले गए हो गम नहीं होता तुम्हारे जाने का..
सोचा था तुम्हारे जाने के बाद खुद को संभाल नहीं पाऊंगा..
सोचा था तुम्हारे जाने के बाद मर मैं जाऊंगा..
तुमने हमें इतनी बेरहमी से जो छोड़ा था अपने पत्थर जैसे दिल से..
हमारे शीशे जैसे मोहब्बत को जो तोड़ा था, सोचा था कि हंसना भूल जाऊंगा..
नहीं होगा कोई कारण मुस्कुराने का, पर अब जब तुम चले गए हो गम नहीं होता तुम्हारे जाने का …
9. मजा ही कुछ और है…POEM
Ex को घंटों Stock करने का फिर उसे हर जगह से Block करने का..
नई पिक्चर हॉल पर देखने का क्रश को दूर-दूर से घूर के देखने का..
किसी लड़की के याद में मां को गले लगाने का..
और रात में उठकर मैगी बनाने का मजा ही कुछ और है..
दोस्तों के साथ स्कूल के दिनों को याद करने का..
एकतरफा इश्क में खुद को बर्बाद करने का..
ऑफिस या कॉलेज लेट जाने का..
सर्दी में 1 दिन छोड़कर नहाने का मजा ही कुछ और है..
10. तुझे अपना बना न सके…Poem
तुझे पा तो लिया था मैंने लेकिन तुझे अपना बना ना सका..
की जिसकी रातें मेरे बिना होती ना थी..
जो मुझे I LOVE U बोले बिना सोती ना थी..
जो मुझसे कुछ भी छुपा कर रह नहीं पाती थी..
जो मेरे खिलाफ कोई भी तोहीन सह नहीं पाती थी..
जो दिन शुरू मेरे मुस्कान से खत्म मुझ पर करती थी..
आज देखो वो किसी और की हो गई है ….
उसके किसी और के हो जाने पर रोक लगा ना सका..
तुझे पा तो लिया था मैंने लेकिन तुझे अपना बना ना सका..
पर जब तू साथ थी तो सोचा तू अलग है सबसे..
ये गलतफहमी पाल रखी थी कब से..
लेकिन फिर भी तू वैसी ही निकली (धोखेबाज ,दगाबाज)..
की दिल तोड़ कर चली गई और बीच रास्ते में मेरा हाथ छोड़ कर चली गई..
पर जाने वाले को कौन रोक सकता है..
पर हाथों में तो आ गई थी मेरे, पर तुझे लकीरों में लिखवा ना सका..
तुझे पा तो लिया था मैंने लेकिन तुझे अपना बना ना सका…
Final Words:-
दोस्तों आशा करता हूं आपको Love Poems in Hindi का पोस्ट अच्छा लगा होगा आपके विचार हमें कमेंट के माध्यम से जरूर बताएं और यह पोस्ट आपको अच्छा लगे तो शेयर भी जरूर कर दे।
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